संघ ने कोलम्बिया की काथलिक कलीसिया को दोनों पक्षों के बीच समझौता और अपनी समन्वयन के पहल में उनके अहम सहयोग की भूरी-भूरी प्रशंसा की है जिससे देश में शांति और मेल-मिलाप को प्रोत्साहन मिलने की संभावना है। इस पहल के दौरान लातिनी अमेरीका के काफोड मुख्य अधिकारी क्लेर डीक्सोन ने कई मर्तबा कोलाम्बिया का दौरा किया और शांति बहाल हेतु प्रयास किये। उन्होंने वाटिकन रेडियो की सुसी होजेस को दिये गये अपने साक्षात्कार में कहा, “शांति बहाल के यह क्षण सम्पूर्ण कोलाम्बिया हेतु एक ऐतिहासिक क्षण है। देश के नागरिकों में अब एक बृहद आशा जगी हैं लेकिन उन्होंने इस बात की भी चेतावनी दी कि शांति व्यवस्था का मुख्य कार्य करना अभी बाकी हैं।
उन्होंने कहा कि इस राह की सबसे बड़ी चुनौती 2 अक्टूबर का मतदान है जहाँ लोगों को अपने मत इस मुद्दे पर डालने हैं कि वे देश में शांति बहाल करना चाहते हैं या नहीं। विदित हो कि देश की राजनीतिक विपक्ष दल ने इसके विरुद में मतदान करने का निर्णय ले लिया है। स्थानीय कलीसिया की भूमिका का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि कोलम्बिया की कलीसिया ने दोनों दल के बीच सुलह हेतु न केवल महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है किन्तु वह देश में शांति व्यवस्था को कायम रखने हेतु नागरिकों को प्रोत्साहित करेगी, विशेष कर, शांति व्यवस्था के मुद्दों की समझ को विगत गुरिल्ला समुदाय और इसके लड़ाकों के मध्य जिससे वे समाज में सम्मिलित किये जा सकें।
क्लोर ने कहा, “कोलम्बिया के नागरिकों को अपने अतीत को भूल कर एक नई शुरुआत करने की जरूरत है जो मेल-मिलाप के बिना संभव नहीं है।”
(Dilip Sanjay Ekka)